27 February 2011

हर गम से बेगाना बचपन । सुरेश शर्मा । P 19

कहते हैं ।  एक चित्र बराबर हजार शब्द । मेरा मानना है । एक कार्टून बराबर हजार खुशी । हँसी । गुदगुदी । खुशियों भरी दीवाली का ऐसा ही कार्टून बम धमाका रोज करते हैं । श्री सुरेश शर्मा जी । इसी तरह होली भी एक बार आती है । पर सुरेश जी रोज ही हम सबको रंगो से सराबोर करते हैं । बस एक सलाह आपको विशेष देनी है । किसी कार्टूनिस्ट से कभी पंगा मत लेना ? वरना आपको..सारी आपका कार्टून बनते देर नहीं लगेगी । वैसे अन्दर की बात बताऊँ ? मैं खाली पीली मक्खन लगा रहा हूँ । कहीं सुरेश जी से पंगा ना हो जाय ? वरना तो सुरेश जी के कार्टून..? एकदम बोरिंग..खैर भाईयो बहनों..बुरा ना मानों..( क्योंकि ) होली ( आने वाली ) है । आगे देखिये । अपने मुँह मियाँ मिठ्ठू । सुरेश जी कैसी लम्बी लम्बी छोङ रहे हैं ।..बचपन से कार्टून बना रहा हूँ । आज भी कोशिश जारी है । विभिन्न अखबारों व पत्रिकाओं के लिए 20 000 से भी अधिक कार्टून बना चूका हूँ । दैनिक हिंदुस्तान रांची के लिए लगातार 10 वर्षों तक कार्टून बनाये । और अब दैनिक भास्कर के लिए कार्टून बनाने का कृम जारी है । 

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